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Armin Dutia Motashaw
Poems
May 2020
घोंसला
घोंसला
तिनका तिनका जोड़ के घोसला बनाया बड़े प्यार से
बच्चोंकी जान खतरे में देख कर , काटा दुशमन को चोंच की धार से
छोटे और कमजोर हो कर भी ललकारा दुशमन को; देख तु यहीं ;
गर पंछी यह कर सकते हैं तो, हम इंसान क्यूँ नहीं ?
बच्चों के लिए माता पिता उठाते हैं श्रम भारी, देते हैं कितना त्याग
वही बच्चे, अपने पति/ पत्नी की खुशी के खातीर, बिगाड़ देते है मात पिताका भाग ।
Armin Dutia Motashaw
Written by
Armin Dutia Motashaw
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